कीव/मॉस्को: रूस का एक युद्धपोत मोस्कवा (Moskva warship) काला सागर (Black Sea) में डूब गया है। यूक्रेन (Ukraine) का दावा है कि उसने दो मिसइलों के हमले से युद्धपोत को नष्ट कर दिया। यूक्रेन ने यह भी बताया कि उसने नेप्च्यून मिसाइल (Neptune cruise missile) से ये हमला किया था।यूक्रेन के मुताबिक, हमले के बाद रूसी युद्धपोत के चालक दल के सदस्यों को मजबूर होकर युद्धपोत छोड़ना पड़ा। हालांकि रूस ने युद्धपोत नष्ट्र होने की बात स्वीकार तो की है। लेकिन उसकी वजह दूसरी बताई है। इस बीच, रूसी सेना ने यूक्रेन के पूर्वी इलाकों और बंदरगाह शहर मारियुपोल के आसपास के इलाकों में हमले तेज कर दिए हैं। इन इलाकों में रूसी सेना को अभी भी कड़े प्रतिरोध का सामना करना पड़ रहा है।
रूस के रक्षा मंत्रालय ने कहा है कि बुधवार को एक विस्फोट से क्षतिग्रस्त हुआ एक रूसी युद्धपोत डूब गया है। मंत्रालय के अनुसार, रूस के काला सागर बेड़े के प्रमुख मोस्कवा को बंदरगाह पर ले जाया जा रहा था, जब तूफानी समुद्र के कारण यह डूब गया। 510-क्रू मिसाइल क्रूजर रूस की सैन्य शक्ति का प्रतीक था, जिसने यूक्रेन पर अपने नौसैनिक हमले का नेतृत्व किया। उधर कीव का कहना है कि उसकी मिसाइलों ने युद्धपोत को मारा। मास्को ने किसी हमले की सूचना नहीं दी है। इसमें कहा गया है कि आग लगने के बाद जहाज डूब गया। रूस का कहना है कि आग की वजह से युद्धपोत के गोला-बारूद में विस्फोट हुआ, बाद में पूरे चालक दल को काला सागर में पास के रूसी जहाजों में ले जाया गया।
यूक्रेन का दावा- मोस्कवा में 510 लोग थे, नेप्च्यून मिसाइल किया हमला
राज्य समाचार एजेंसी तास ने रूसी रक्षा मंत्रालय के हवाले से बताया है कि बंदरगाह की ओर ले जाने के दौरान पोत ने अपना संतुलन खो दिया जिसके बाद गोला बारूद विस्फोट के बाद आग लग गई थी। जहाज डूब गया। यूक्रेनी सैन्य अधिकारियों ने कहा कि उन्होंने मास्को में यूक्रेनी निर्मित नेप्च्यून मिसाइलों से हमला किया। उन्होंने यह भी दावा किया है कि मोस्कवा में 510 चालक दल सवार हो सकते हैं। नेप्च्यून मिसाइल को हवा, जमीन और पानी से दागा जा सकता है। दुश्मन की रडार की नजर से बचने के लिए यह मिसाइल अपने टर्मिनल फेज में सतह से 10-15 मीटर की ऊंचाई पर उड़ता है। टारगेट के करीब आने पर यह सतह से 3-10 मीटर की ऊंचाई पर उड़ते हुए हमला करता है। इस खूबी के चलते इसे रोक पाना कठिन होता है।
मॉस्कोवा रूस का मिसाइल क्रूजर था। इसका नाम मॉस्को शहर के नाम पर रखा गया था। यह 12,490 टन विस्थापन वाला युद्धपोत था। यह रूसी नौसेना के काला सागर बेड़े का प्रमुख पोत था, जिसपर लगभग 500 कर्मियों का दल सवार था। Moskva को मूल रूप से 1983 में स्लाव के रूप में कमीशन किया गया था। इसे 2000 में नए हथियार प्रणालियों और इलेक्ट्रॉनिक्स से अपडेट किया गया था।