सासंद श्री राहुल गांधी ने विकास प्रदर्शनी स्थल में कलागुड़ी का अवलोकन किया। उन्होंने ढोकरा (बेल मेटल), रॉट आयरन, तुम्बा, शिशल, काष्ट, बांस आदि प्राचीन कलाओं के संरक्षण एवं संवर्धन के लिए बस्तर जिले में विकसित कलागुड़ी को बस्तर आर्ट के विकास के लिए उल्लेखनीय बताया। सांसद श्री गांधी के पूछने पर बताया गया कि कलागुड़ी से अब तक इससे 500 से भी अधिक कारीगरों के परिवार लाभांवित हो रहे हैं। इन परिवारों को लगभग 2 लाख रुपए से अधिक आय हो रही है। बीजापुर जिले में बांस शिल्पकला एवं फर्नीचर निर्माण में लगी महिलाएं अब बांस उत्पाद निर्मित कर उन्हें अन्य प्रदेशों के बाजारों में क्रय उपलब्ध कर रही हैं। दैनिक आजिविका के साथ अतिरिक्त मासिक आमदनी 2500 से 3000 रुपए आय अर्जित कर रही हैं।
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