कुछ ही दिनों पहले एनडीटीवी से खास बातचीत में मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा था कि फरवरी से कूनो में चीतों के देखने पर्यटक आ सकेंगे.
नामीबिया से कूनो नेशनल पार्क में लाए गए 8 चीतों में से एक मादा चीते की तबीयत बिगड़ गई है. मादा चीता शाशा की हालात बिगड़ने से उसकी सेहत को लेकर कूनो नेशनल पार्क प्रबंधन के अफसरों की चिंताएं बढ़ गईं हैं. मादा चीता शाशा की तबियत खराब होने का पता कूनो के अफसरों को उस वक़्त लगा, जब नामीबिया के चीतों की रूटीन मॉनिटरिंग में लगी टीम के सदस्यों को शाशा की सेहत कमजोर दिखी.
कूनो में चीतों की विशेष निगरानी करने वाली डॉक्टरों की टीम ने शाशा को मेडिकल परीक्षण के लिए बड़े बाड़े से निकाला. शाशा के हेल्थ चेकअप के बाद टीम को उसकी किडनी में इंफेक्शन नजर आया. साथ ही उसे डिहाइड्रेशन भी था. इसके बाद शाशा का इलाज शुरू करने के लिए नामीबिया और साउथ अफ्रीका के वाइल्ड लाइफ विशेषज्ञों से बातचीत करके उसका इलाज शुरू तो कर दिया पर इलाज से जुड़ी हुईं मशीनें नहीं होने के चलते भोपाल से एक टीम मशीनों के साथ श्योपुर के कूनो नेशनल पार्क के लिए भेजी गई है.
वन विहार नेशनल पार्क के मुख्य पशु चिकत्सक डॉ. अतुल गुप्ता को श्योपुर भेजा गया है. 17 सितम्बर को PM मोदी ने अपने जन्मदिन पर कूनो नेशनल पार्क में नामीबिया से भारत लाए गए 8 चीतों को छोड़ा था. लंबे वक्त क्वॉरंटीन रहने के बाद 28 नवम्बर को कूनो नेशनल पार्क में छोटे बाड़े से बड़े बाड़े के 5 नंबर कंपार्टमेंट में तीन मादा चीता सियाया, सवाना ओर शाशा को छोड़ा गया था. जल्द ही चीतों को बड़े बाड़े से खुले जंगल मे छोड़ने की तैयारियां भी चल रही थीं. फिलहाल, कूनो नेशनल पार्क में बीमार मादा चीता शाशा को किडनी इन्फेक्शन के चलते विशेषज्ञों ने ऑब्जर्वेशन में रखा है. कुछ ही दिनों पहले एनडीटीवी से खास बातचीत में मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा था कि फरवरी से कूनो में चीतों के देखने पर्यटक आ सकेंगे.